शा. महाविद्यालय में रजत जयंती महोत्सव पर एल्युमनी मीट

महासमुंद। शासकीय महाप्रभु वल्लभाचार्य स्नातकोत्तर महाविद्यालय में छग राज्य गठन के 25 वर्ष पूर्ण होने पर रजत जयंती महोत्सव मनाया जा रहा है। 8 सितंबर से 12 सितंबर तक विभिन्न कार्यक्रम विधायक एवं महाविद्यालय जनभागीदारी समिति के अध्यक्ष योगेश्वर राजू सिन्हा एवं प्राचार्य करुणा दुबे के मार्गदर्शन में आयोजित किया जा रहा है।
इसी तारतम्य में 11 सितम्बर को एल्युमनी मीट कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि अध्यक्ष एल्युमनी एसोसिएशन महाविद्यालय अमृत चोपड़ा, विशिष्ट अतिथि पूर्व अध्यक्ष नगर पालिका पवन पटेल, नपा उपाध्यक्ष देवीचंद राठी, अध्यक्ष शासडीएमएस शाला विकास समिति रमेश साहू, उपाध्यक्ष एल्युमनी राजकुमार राठौर, पूर्व अध्यक्ष एल्युमनी दाऊलाल चंद्राकर, सहसचिव एल्युमनी मनीष शर्मा, संयोजक छग रजत महोत्सव डॉ मालती तिवारी मंचस्थ रहे। प्राचार्य करुणा दुबे ने कहा कि महाविद्यालय ने विकास यात्रा की है। निश्चित ही महाविद्यालय ने प्रबुद्धजनों को शिक्षा प्रदान की, हमारी यात्रा कहां थी और अब कहां है, इस पर चर्चा होगी। छत्तीसगढ़ कल, आज और कल विषय पर पूर्व एल्युमनी अध्यक्ष दाऊलाल चंद्राकर, एल्युमनी सदस्य तरूण ध्रुव, प्रभा पंडा, धनुर्जय साहू ने अपने विचार व्यक्त किए। सेवानिवृत सहायक ग्रेड-2 मनोज शर्मा ने प्रतिभा प्रोत्साहन कोष में 50 हजार रुपए, संयोजक डॉ मालती तिवारी ने 25 हजार दान किए। पंकज सोनी एल्युमनी सदस्य ने निर्धन छात्र कोष में प्रत्येक वर्ष 5100 रुपए की प्रोत्साहन राशि प्रदान किया। मनीष शर्मा एल्युमनी सह सचिव ने सहयोग राशि प्रदान की। मनीष श्रीवास्तव ने 12 हजार रुपए सहयोग राशि प्रदान की। साहित्यिक प्रस्तुति एल्युमनी सदस्य गुलाब ठाकुर, संजय एक्का, पंकज सोनी, केशव शर्मा, रविंदर गुरुदत्ता, छात्रा ऋचा चंद्राकर, रासेयो वरिष्ठ स्वयंसेवक मनोज देवांगन, दिनेश साहू, मयंक साहू, नुसरत खान द्वारा साहित्यिक प्रस्तुति दी। विशिष्ट अतिथि देवीचंद राठी ने कहा कि छग राज्य निर्माण के बाद इस प्रदेश ने हर क्षेत्र में प्रगति की है। मुख्य अतिथि अमृत चोपड़ा ने कहा कि इस महाविद्यालय से निरंतर विश्वविद्यालय मेरिट में अपना स्थान प्राप्त करते आ रहे हैं, जो कि आज भी यह परंपरा प्रगति पर है और आगे यह परंपरा चलती रहेगी।
कार्यक्रम में एल्युमनी के सदस्य डॉ ए करीम, पारस चोपड़ा, प्रो डॉ अनुसुइया अग्रवाल, डॉ दुर्गावती भारतीय, विष्णु चंद्राकर, महेंद्र जैन, आशुतोष शर्मा, विजय चौहान, रत्नेश सोनी, मनीष चंद्राकर, गुप्तेश नामदेव, भरत साहू, राजेश्वरी सोनी, सरस्वती सेठ, मनबोध चौहान, आशुतोष पुरी गोस्वामी, मनीषा प्रधान, परवीन नजीब, टीकम साहू, प्रकाशमणि साहू, महाविद्यालय के प्राध्यापक, अतिथि प्राध्यापक, शोध छात्र-छात्राएं, अधिकारी एवं कर्मचारी सहित महाविद्यालय के पूर्व एवं वर्तमान में अध्ययनरत पीजी के छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।