जल संरक्षण का सफल मॉडल, 57 अमृत सरोवर व 1865 डबरी ने बदली तस्वीर
कोरिया 11 नवम्बर 2025। महात्मा गांधी नरेगा योजनांतर्गत जलसंवर्धन और आजीविका उन्नयन के कार्यों ने ग्रामीण विकास को नई दिशा प्रदान की है। जल संरक्षण को बढ़ावा देने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा प्रारंभ किए गए मिशन अमृत सरोवर अभियान को छत्तीसगढ़ में रफ्तार देते हुए मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने सभी जिलों में अधिकाधिक अमृत सरोवर निर्माण के निर्देश दिए थे। इसी क्रम में कोरिया जिले में अब तक 57 अमृत सरोवरों का निर्माण एवं पुनर्जीवन सफलतापूर्वक पूर्ण किया जा चुका है।
जनपद पंचायत बैकुण्ठपुर में 22 एवं सोनहत जनपद में 35 अमृत सरोवर विकसित किए गए हैं। प्रत्येक तालाब का न्यूनतम क्षेत्रफल एक एकड़ है, जिससे औसतन 10 हजार घनमीटर जलभराव संभव हो सका है। इस प्रकार जिले में कुल 5 लाख 70 हजार घनमीटर से अधिक जलसंचयन क्षमता अमृत सरोवरों के माध्यम से तैयार की जा चुकी है।
सभी अमृत सरोवरों को ग्राम पंचायतों द्वारा महिला स्व-सहायता समूहों को मछली पालन हेतु लीज पर दिया गया है। इससे 57 समूहों की 570 से अधिक महिला सदस्यों को स्थायी आजीविका का साधन प्राप्त हुआ है। ग्रामीण स्तर पर पोषण अभियान को दक्षता से बढ़ावा मिला है और फसल विविधीकरण व सब्जी उत्पादन को नई मजबूती मिली है। इन जलाशयों के माध्यम से 5 से 17 एकड़ तक खेतों की सिंचाई सहज हुई है, जिससे किसान अब दो फसलें एवं सब्जी उत्पादन सहजता से कर पा रहे हैं।
