कोलाहल अधिनियम के तहत जिले में ध्वनि विस्तारक यंत्रों पर लगा प्रतिबंध

दंतेवाड़ा । लोकसभा निर्वाचन 2024 के शांतिपूर्ण एवं निष्पक्ष रूप से सम्पादन के लिए जिला दण्डाधिकारी दक्षिण बस्तर दंतेवाड़ा कलेक्टर श्री मयंक चतुर्वेदी द्वारा छ.ग. कोलाहल अधिनियम 1985 की धारा 4 में प्रदत्त अधिकारों का प्रयोग करते हुए ध्वनि विस्तारक यंत्रों के उपयोग के लिए प्रतिबंधित लगाया गया है। चुनाव प्रचार-प्रसार के लिए चलित वाहनों में ध्वनि विस्तारक यंत्र का उपयोग हेतु सक्षम प्राधिकारी द्वारा अनुमति लिया जाना अनिवार्य रहेगा। अनुमति मिलने पर भी ध्वनि विस्तारक यंत्र का उपयोग अधिकतम प्रातः 06 बजे से रात्रि 10 बजे तक ही किया जा सकेगा। सामान्यतः आम सभा, प्रचार, जुलूस के लिए लाउडस्पीकर का उपयोग हेतु सक्षम प्राधिकारी द्वारा अनुमति लिया जाना अनिवार्य किया गया है। सक्षम प्राधिकारी से अनुमति मिलने उपरांत लाउड स्पीकर या ध्वनि विस्तारक यंत्र था अन्य ध्वनि उत्पन्न करने वाले यंत्र का उपयोग सार्वजनिक स्थलों पर किया जा रहा हो तो भी उसकी सीमा उस क्षेत्र के परिवेशीय ध्वनि पैमाने से 10 डी.बी. (ए) से अधिक नहीं होना चाहिए या 75 डी.बी. (ए) से अधिक नहीं अथवा इनमें से जो भी कम है. अधिक नहीं होना चाहिये। उपरोक्त नियम का उल्लंघन करने पर कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 की धारा 15 की उपधारा (1) (2) के तहत कार्यवाही की जायेगी एवं धारा 16 के अंतर्गत ध्वनि विस्तारक यंत्र को अधिग्रहण किया जा सकेगा तथा इस संबंध में शासन द्वारा समय समय पर प्रसारित आदेशों, निर्देशों का पालन नहीं करने पर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।

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